यह रेलवे की लूट का अच्छे दिन वाला मॉडल है real accident Abhi Tak जांच नहीं हुई है पता नहीं है रेल हादसे में मृत्यु कितने लोगों की हुई है और एक्सीडेंट की वजह क्या है? सरकार मरने वालों के आंकड़े और एक्सीडेंट की वजह नहीं बता रही है जनरल डिब्बे कम होने की वजह टिकट लेकर भी जगह नहीं मिलती

यह रेलवे की लूट का अच्छे दिन वाला मॉडल है real accident Abhi Tak जांच नहीं हुई है रेलवे ने 6.9 लाख शिशुओं से (1-4 वर्ष ) बर्थ के बदले व्यस्कों के बराबर पूरा किराया वसूल कर 39 करोड़ से ज्यादा कमाए जानकारी के लिए यह बता दूं कि 2014 में मोदी सरकार आने के पहले 5 वर्ष तक के शिशुओं का टिकट नहीं लगता था 12 वर्ष तक बर्थ के साथ आधा टिकट लगता था मोदी की सरकार आने के बाद पहले हाफ टिकट के साथ बर्थ की सुविधा बंद हुई अब 1 से 4 साल के अबोध शिशुओं से बर्थ के नाम पर भी वयस्कों के बराबर किराया वसूल रही है फिर थोड़े और अच्छे दिन आए तो सीनियर सिटीजन बुजुर्ग महिलाओं को किराए में दी जाने वाली छूट भी बंद कर दी गई जाहिर है यह सब प्राइवेटाइजेशन के पहले की कवायद है..ताकि रेलवे के नए आकाओं को नुकसान ना हो रेलवे के लूट के इस मॉडल का खुलासा मित्र Chandra Shekhar Gaur की आरटीआई से हुआ है चलते-चलते यह भी की अब ऐसे कुलसी करना वह मुश्किल हो जाएगा क्योंकि मोदी सरकार ने एक नए बिल की आड़ में ऐसा प्रजातंत्र विरोधी बदलाव किया है कि आरटीआई जैसे कानून बीते वक्त की बात हो जाएंगे अब किसी भी भ्रष्टाचारी कंपनियां की अनुमति के बगैर उसके कारनामों का खुलासा नहीं किया जा सकेगा 500 करोड़ तक के जुर्माने का प्रावधान है इस विषय पर फिर कभी तब तक आप भी व्हाट्सएप यूनिवर्सिटी से बाहर आकर कुछ पड़ताल कीजिए
rti Ashwini Vaishnaw PMO India Ravish Kumar
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